भारतीय मुक्कों ने दम दिखाया, इनाम पाया!
- भारतीय मुक्केबाजी संघ के चेयरमैन और पूर्व अध्यक्ष अजय सिंह ने विजेता मुक्केबाजों को सम्मानित किया
- ओलम्पिक पदक विजेता विजेंद्र सिंह ने ब्राजील और कजाकिस्तान में आयोजित विश्व कप में शानदार प्रदर्शन करके और पदक जीतने वाले मुक्केबाजों के मनोबल की तारीफ की
राजेंद्र सजवान
“इनमें से आपको एक-दो नहीं कई एक विजेंद्र और मैरी कॉम मिलेंगे, जो कि देश के लिए ओलम्पिक पदक जीतने का मादा रखते हैं,” भारतीय मुक्केबाजी संघ के चेयरमैन और पूर्व अध्यक्ष अजय सिंह ने मुक्केबाजों के लिए यहां नेहरू स्टेडियम में आयोजित सम्मान समारोह में कहा कि भारतीय मुक्केबाजों ने फिर से रफ़्तार पकड़ ली है। इस मौके पर मौजूद ओलम्पिक पदक विजेता विजेंद्र सिंह ने सहमति व्यक्त की और माना कि ब्राजील और कजाकिस्तान में आयोजित विश्व कप में शानदार प्रदर्शन करने वाले और पदक जीतने वाले मुक्केबाजों का मनोबल काबिले तारीफ हैं। विजेंद्र ने माना कि हमारे मुक्केबाज सही दिशा में बढ़ रहें हैं। खासकर, हरियाणा के छोरे-छोरियां गजब ढा रहे हैं।
इस अवसर पदक विजेताओं के लिए 17.5 करोड़ की पुरुस्कार राशि घोषित की गई। गोल्ड और सिल्वर जीतने वाले मुक्केबाजों को क्रमशः दो और एक लाख और ब्रॉन्ज जीतने पर पचास हजार दिए जाएंगे। अजय सिंह ने पुरुष टीम के चीफ कोच व पूर्व अंतर्राष्ट्रीय मुक्केबाज धर्मेन्द्र यादव (गोगी) और महिला टीम के कोच डॉक्टर चंद्र लाल की सराहना की और कहा कि उनकी देख-रेख में अच्छे रिजल्ट आ रहे हैं। महिला टीम के चीफ कोच डॉक्टर लाल ने मुक्केबाजों की कामयाबी का बड़ा श्रेय उत्तर प्रदेश मुक्केबाजी संघ के महासचिव प्रमोद कुमार को दिया और कहा कि उन्होंने डेढ़ साल में छह राष्ट्रीय चैंपियनशिप आयोजित कर मुक्केबाजों को तैयारी के लिए प्लेटफॉर्म दिया, जिसका नतीजा सामने है। उल्लेखनीय हैं कि प्रमोद 5 और 10 हजार मीटर के एथलीट रहे हैं और भारत के लिए एशियाड दौड़ चुके हैं।
भारत ने ब्राजील और उज़्बेकिस्तान में कुल 17 पदक जीते, जिनमें 4 स्वर्ण, कई रजत और कांस्य शामिल हैं। भारत को अस्ताना में साक्षी (54 किग्रा), जैसमीन लांबोरिया (57 किग्रा), नूपुर (80+ किग्रा) से स्वर्ण पदक मिले, वहीं हितेश गुलिया (70 किग्रा) ने ब्राजील में स्वर्ण पदक जीता। खास बात यह रही कि हितेश और अभिनाश जम्वाल (65 किग्रा) ने दोनों टूर्नामेंट्स में पदक जीते। हितेश को जहां एक स्वर्ण और एक रजत पदक मिला जबकि अभिनाश ने दोनों में रजत पदक जीता। अन्य पदक विजेताओं में पूजा रानी (80 किग्रा), मीनाक्षी (48 किग्रा), जुगनू (85 किग्रा), संजू (60 किग्रा), निखिल दुबे (75 किग्रा), नरेंद्र (90+ किग्रा) शामिल हैं। वहीं ब्राजील चरण में जदुमणि सिंह (50 किग्रा), मनीष राठौड़ (55 किग्रा), सचिन सिवाच (60 किग्रा) और विशाल (90 किग्रा) ने कांस्य पदक जीते।