नयी दिल्ली। पहले सुरेश रैना यूएई पहुंचने के बाद टीम को मझधार में छोड़कर स्वदेश लौट आये, फिर हरभजन सिंह ने आईपीएल 2020 में खेलने से इन्कार कर दिया और अब ड्वेन ब्रावो चोटिल हो गये।
अपने इन तीन स्टार खिलाड़ियों के अलावा बीच में कुछ मैचों में अंबाती रायुडु की अनुपस्थिति से चेन्नई सुपर किंग्स की गाड़ी लगातार पटरी से उतरती गयी और अब आलम यह है कि महेंद्र सिंह धोनी की अगुवाई वाली टीम की प्लेऑफ में पहुंचने की संभावना लगातार क्षीण पड़ती जा रही है।
चेन्नई की टीम ने इससे पहले जिन दस वर्षों में आईपीएल में हिस्सा लिया। उन सभी में वह प्लेऑफ में जरूर पहुंची। उसने तीन बार खिताब जीता। छह बार वह उप विजेता रही जबकि एक बार चौथे स्थान पर आयी थी। लेकिन इस बार धोनी की टीम के नौ मैचों में तीन अंक हैं और प्लेऑफ में पहुंचने के लिये उसे अपने सभी मैच जीतने होंगे।
धोनी की टीम को टूर्नामेंट से पहले ही सबसे बड़ा झटका तब लग गया था जब बायें हाथ के बल्लेबाज सुरेश रैना शुरू में ही टीम कैंप छोड़कर स्वदेश लौट गये थे। रैना टीम के सबसे सफल बल्लेबाज रहे हैं। उन्होंने आईपीएल में 5368 रन बनाये हैं और चेन्नई को उनकी मध्यक्रम में बड़ी कमी खल रही है।
टीम के मुख्य स्पिनर हरभजन सिंह निजी कारणों से इस टूर्नामेंट में नहीं खेल रहे हैं। दो बड़े खिलाड़ियों के पहले ही बाहर होने के बाद टीम के धाकड़ आलराउंडर ड्वेन ब्रावो जब यूएई पहुंचे तो उनके घुटने में चोट लगी थी। वह पहले तीन मैचों में नहीं खेल पाये।
ब्रावो ने अच्छी वापसी की लेकिन दिल्ली कैपिटल्स के खिलाफ ग्रोइन की चोट के कारण वह आखिरी ओवर नहीं कर पाये। धोनी को रविंद्र जडेजा को गेंद सौंपनी पड़ी और अक्षर पटेल ने उन पर तीन छक्के लगाकर दिल्ली को जीत दिला दी।
ब्रावो की अगले मैचों ही नहीं टूर्नामेंट से बाहर होने की संभावना जतायी जा रही है। बीच में अंबाती रायुडु ही चोटिल हो गये थे जिसके कारण वह कुछ मैचों में नहीं खेल पाये थे। इन सब कारणों से चेन्नई की टीम पूर्व के टूर्नामेंटों की तरह अभी तक सही संयोजन तैयार नहीं कर पायी है जो उसके लगातार हारने का कारण भी है।