शहीद भगत सिंह फुटबॉल कप: दिल्ली एफसी ने जीता दोहरा खिताब

दिल्ली की चैम्पियन टीम ने अंडर-18 और अंडर-22 कैटगरी के खिताब जीते

दिल्ली ने अंडर-18 के फाइनल में मजबूत प्रतिद्वंद्वी सुदेवा एफसी से 2-1 से हराया

दिल्ली ने अंडर-22 कैटगरी में दिल्ली सरकार छत्रसाल की टीम जीएनसीटी को 3-0 से पराजित किया

उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसौदिया और भारत में स्पेन के राजदूत जोस मारिया रिडाओ डोमिंगुएज ने विजेताओं को पुरस्कृत किया

संवाददाता

नई दिल्ली। दिल्ली एफसी ने शहीद भगत सिंह फुटबॉल कप का दोहरा खिताब जीत लिया है। दिल्ली एफसी की टीमों ने बुधवार को त्यागराज स्टेडियम में खेले गए अंडर-18 और अंडर-22 के फाइनल मैच जीतकर खिताब अपने नाम किए।

त्यागराज स्टेडियम में लगभग डेढ़ हजार स्कूली छात्रों और बड़ी संख्या में दर्शकों की मौजूदगी में ये दोनों खिताबी मुकाबले खेले। इस दौरान दिल्ली सरकार के उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसौदिया और भारत में स्पेन के राजदूत जोस मारिया रिडाओ डोमिंगुएज ने बतौर विशेष अतिथि आयोजन की शोभा बढ़ाई और विजेताओं को पुरस्कृत किया।  

अंडर-18 आयु वर्ग में दिल्ली दो लक्ष्य लेकर त्यागराज स्टेडियम के मैदान पर उतरी थी और उसने अपनी मजबूत प्रतिद्वंद्वी सुदेवा दिल्ली एफसी से 2-1 से हराकर दोनों ही लक्ष्य पूरे किए। इस फाइनल मुकाबला का पहला गोल फोनिक्स ने किया और सुदेवा को 1-0 की बढ़त दिलाई। हाफ टाइम की सीटी बजने से ठीक पहले दिल्ली के अंतर्राष्ट्रीय खिलाड़ी हिमांशु ने गोल करके अपनी टीम को 1-1 की बराबरी पर ला दिया। मध्यांतर के बाद ग्वग्वामार गागारी ने 50वें मिनट में गोल करके दिल्ली को 2-1 की बढ़त दिलाई, जो कि रैफरी मुकेश दत्त की लंबी सीटी बजने तक बरकरार रही।

इस तरह दिल्ली एफसी अंडर-18 की चैम्पियन बन गई। साथ ही उसने अपनी मजबूत प्रतिद्वंद्वी सुदेवा दिल्ली एफसी से लीग मैच में मिली एकमात्र हार का हिसाब चुकता कर दिया।

अंडर-18 कैटगरी में ग्वग्वामार गागारी और शास्त्री एफसी के यशस शरीन को गोल्डन बूट के अवार्ड से नवाजा गया। इन दोनों ने टूर्नामेंट में बराबर 21-21 गोल किए। उन्हें एक-एक लाख रुपये की इनामी राशि प्रदान की गई।

दिन का दूसरा मैच अंडर-22 का फाइनल था, जिसे दिल्ली की चैम्पियन टीम ने बिना किसी प्रतिरोध के जीत लिया। उसको दिल्ली सरकार छत्रसाल की टीम जीएनसीटी मजबूत चुनौती देने में नाकाम रही। जीएनसीटी के खिलाड़ियों ने तालमेल की कमी साफ नजर आई, लेकिन अनियमित टीम होने के बावजूद फाइनल में पहुंचना खिलाड़ियों के दमखम को दर्शाता है।

बहरहाल, मैच का परिणाम दिल्ली के पक्ष में 3-0 रहा। स्ट्राइकर अभय ने 36वें मिनट में टीम का खाता खोला। लाइवांग ने 54वें मिनट में दाहिने छोर से मिले क्रॉस को हैडर से गेंद गोलजाल में उलझाकर स्कोर 2-0 कर दिया। 82वें मिनट में जगमीत ने मैच का अंतिम गोल करते हुए स्कोर 3-0 करके अपनी टीम की जीत पर मोहर लगा दी।

अंडर-22 कैटगरी में बिजोय गोसाई को गोल्डन बूट के अवार्ड से नवाजा गया। दिल्ली सरकार छत्रसाल की टीम जीएनसीटी के इस खिलाड़ी ने टूर्नामेंट में कुल 19 गोल दागे। उन्हें एक लाख रुपये की इनामी राशि प्रदान की गई।

खिताब जीतने वाली टीमों को 5-5 लाख, उप-विजेताओं को 3-3 और तीसरा स्थान पाने वाली टीमों को 1-1 लाख की राशि का इनाम दिया गया। गोल्डन बूट विजेता को एक लाख का इनाम दिया गया, जो दिल्ली के लोकल टूर्नामेंट में अब तक सबसे से अधिक है।

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